खटाई में पड़ी दिख रही प्राचार्यो की नियुक्ति का रास्ता लगभग साफ हो गया है। शिक्षा विभाग ने मंगलवार देर रात 477 कर्मचारियों को पदोन्नति का तोहफा दे दिया। इनमें 265 लेक्चरर व 212 हेडमास्टर शामिल हैं। विभाग ने मंगलवार देर रात लेक्चरर व हेडमास्टर की पदोन्नति लिस्ट इंटरनेट पर जारी करते हुए तमाम जिला शिक्षा अधिकारियों को भेजी है। इसके अनुसार 94 लेक्चरर व 87 हेडमास्टर को स्वतंत्र रूप से प्राचार्य बनाया गया है। 171 लेक्चरर व 125 हेडमास्टर को तत्काल कार्यवाहक के रूप में प्राचार्य (सीडीसी) का पद सौंपा गया है।
सीडीसी प्राचार्यो को स्वतंत्र भार मिलने तक लेक्चरर व मास्टर के ग्रेड पर ही काम करना होगा। सबसे ज्यादा हिसार के 18 लेक्चरर को तथा सबसे कम मेवात के लेक्चरर को प्रिंसिपल बनाया गया है। हेडमास्टर से प्रिंसिपल सबसे ज्यादा भिवानी व सबसे कम मेवात में बनाए गए हैं। गौरतलब है कि 17 अप्रैल को पंचकूला के इंद्रधनुष ऑडोटोरियम में प्राचार्यो के पदों के लिए काउंसिलिंग की गई थी। इसके लिए 615 लेक्चरार व हेडमास्टर को बुलाया गया था। कुछ शिक्षकों ने विभाग पर काउंसिलिंग के दौरान गड़बड़ी करने का भी आरोप लगाया था। इसके अलावा हाई कोर्ट में यह मामला विचाराधीन है, जिस पर सुनवाई 26 अप्रैल को होनी है।
सीडीसी प्राचार्यो को स्वतंत्र भार मिलने तक लेक्चरर व मास्टर के ग्रेड पर ही काम करना होगा। सबसे ज्यादा हिसार के 18 लेक्चरर को तथा सबसे कम मेवात के लेक्चरर को प्रिंसिपल बनाया गया है। हेडमास्टर से प्रिंसिपल सबसे ज्यादा भिवानी व सबसे कम मेवात में बनाए गए हैं। गौरतलब है कि 17 अप्रैल को पंचकूला के इंद्रधनुष ऑडोटोरियम में प्राचार्यो के पदों के लिए काउंसिलिंग की गई थी। इसके लिए 615 लेक्चरार व हेडमास्टर को बुलाया गया था। कुछ शिक्षकों ने विभाग पर काउंसिलिंग के दौरान गड़बड़ी करने का भी आरोप लगाया था। इसके अलावा हाई कोर्ट में यह मामला विचाराधीन है, जिस पर सुनवाई 26 अप्रैल को होनी है।