Wednesday, April 25, 2012

अध्यापकों के प्रमाण पत्रों की होगी जांच

 मुन्नाभाई स्टाइल से हरियाणा अध्यापक पात्रता परीक्षा (एचटेट) पास करके टीचर का पद पाने वाले गुरुजन के लिए मुसीबत खड़ी होने वाली है। पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट ने मंगलवार को स्पष्ट कर दिया है कि पिछले साल नियुक्त सभी 9,000 जेबीटी के एचटेट प्रमाणपत्र की जांच होगी। जैसा कि हाई कोर्ट प्रवीण कुमारी के केस में निर्देश दे चुका है। इसके साथ ही हाई कोर्ट ने याचिकाकर्ता को कहा कि वह नियुक्ति पाए सभी 9,000 जेबीटी को चार सप्ताह के भीतर प्रतिवादी बनाने के लिए समाचारपत्र के माध्यम से नोटिस दे।
सुनवाई के दौरान इस मामले में चल रही जांच पर कोर्ट ने असंतोष जताया। याचिकाकर्ता के वकील जसबीर मोर ने कोर्ट को बताया कि कोर्ट ने पिछले साल इन सभी चयनित टीचर के प्रमाणपत्र की जांच करने के शिक्षा विभाग को निर्देश दिए थे। इस बाबत शिक्षा विभाग के निदेशक ने उनको यह सूचित भी किया कि शिक्षा विभाग ने सभी चयनित टीचर के स्टेट फार्म से हस्ताक्षर व फोटो एकत्र कर लिए हैं और उनका मिलान भिवानी के पंचायत भवन में उनकी ओएमआर सीट से किया जाएगा लेकिन आठ महीने के बाद आज तक केवल 48 टीचर के प्रमाणपत्र की जांच की गई है। कोर्ट ने कड़ा रुख अपनाते हुए कोर्ट रूम में मौजूद शिक्षा विभाग के अधिकारी को फटकार लगाई। जिस पर सरकार ने कोर्ट से मामले की जांच के लिए दो महीने का समय देने की मांग की। कोर्ट ने सरकार को तीन महीने का समय देते हुए 30 जुलाई तक पूरी जांच कर कोर्ट में रिपोर्ट देने का आदेश दिया। कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया कि अगर यह जांच पूरी नहीं हुई तो जिम्मेदार अधिकारी के खिलाफ कोर्ट अवमानना के तहत कार्रवाई होगी।